Waaree Energies ने बड़ा कदम उठाया: 792 करोड़ में खरीदी Enel Green Power, भारत में बढ़ेगा सोलर और विंड पावर का दबदबा!


Waaree Energies ने 792 करोड़ रुपये में Enel Green Power की भारतीय इकाई का अधिग्रहण किया है। जानिए इस डील का असर भारत के सोलर और विंड एनर्जी मार्केट पर।

भारत की सबसे बड़ी रिन्यूएबल एनर्जी डील में से एक

Waaree Energies ने भारत की ऊर्जा दुनिया में हलचल मचा दी है। कंपनी ने इटली की एनर्जी दिग्गज Enel Group की भारतीय इकाई Enel Green Power India Pvt. Ltd. को 792 करोड़ रुपये में अधिग्रहित कर लिया है। यह डील न केवल Waaree की सोलर पोजीशन को मजबूत बनाती है, बल्कि अब कंपनी भारत के विंड एनर्जी सेक्टर में भी प्रवेश कर चुकी है।

Enel Green Power की खासियत क्या है?

Enel Green Power India देश भर में सोलर और विंड प्रोजेक्ट्स संचालित करती है, जिनकी कुल स्थापित क्षमता 760 मेगावाट के आसपास है। इसमें गुजरात, महाराष्ट्र, राजस्थान और आंध्र प्रदेश जैसे राज्यों में चल रहे प्रोजेक्ट शामिल हैं। ये प्रोजेक्ट पूरी तरह ग्रिड-इंटीग्रेटेड हैं और बिजली वितरण कंपनियों से लंबे समय के Power Purchase Agreements (PPA) के तहत जुड़े हुए हैं।

Waaree Energies को क्या मिलेगा इस अधिग्रहण से?

इस अधिग्रहण से Waaree को तैयार-टू-ऑपरेट रिन्यूएबल एसेट्स, अनुभवी तकनीकी टीम और मौजूदा PPA अनुबंधों का सीधा लाभ मिलेगा। इससे कंपनी को सिर्फ सोलर मैन्युफैक्चरिंग तक सीमित रहने के बजाय रिन्यूएबल पावर प्रोड्यूसर के रूप में उभरने का मौका मिलेगा। कंपनी अब सोलर पैनल बनाने के साथ-साथ खुद बिजली उत्पादन और वितरण के क्षेत्र में भी कदम रख चुकी है।

भारत के रिन्यूएबल सेक्टर पर क्या होगा असर?

भारत सरकार का लक्ष्य है कि 2030 तक देश में 500 GW रिन्यूएबल पावर क्षमता स्थापित की जाए। ऐसे में इस तरह के अधिग्रहण से घरेलू कंपनियों की ताकत बढ़ेगी और विदेशी कंपनियों पर निर्भरता घटेगी। Waaree का यह कदम घरेलू निवेश को प्रोत्साहित करेगा और मेक इन इंडिया के तहत रिन्यूएबल सेक्टर को नई दिशा देगा।

डील का आर्थिक और पर्यावरणीय पहलू

₹792 करोड़ की यह डील भारत में सबसे अहम ऊर्जा अधिग्रहणों में मानी जा रही है। इससे एक ओर Waaree को राजस्व और तकनीकी विस्तार का मौका मिलेगा, वहीं दूसरी ओर ग्रिड पर ज्यादा ग्रीन एनर्जी उपलब्ध कराकर पर्यावरण को भी लाभ होगा। Enel के अनुभव और Waaree की घरेलू पकड़ मिलकर भारत के ऊर्जा परिदृश्य को नया आकार देंगे।

निष्कर्ष

Waaree Energies का Enel Green Power India को खरीदना केवल एक कारोबारी डील नहीं, बल्कि भारत के हरित ऊर्जा क्षेत्र में नई क्रांति की शुरुआत है। इससे न केवल देश की ऊर्जा आत्मनिर्भरता बढ़ेगी, बल्कि यह संकेत भी मिलेगा कि भारतीय कंपनियां अब वैश्विक स्तर पर सोच और फैसले ले रही हैं। आने वाले वर्षों में Waaree का यह कदम भारतीय रिन्यूएबल सेगमेंट के नक्शे को बदलने में अहम भूमिका निभाएगा।

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